Imran Khan in Hindi इमरान खान का जीवन परिचय
इमरान खान का जीवन परिचय Biography of Imran khan
पाकिस्तान के 29 वे प्रधानमंत्री Prime Minister of Pakistan पद पर चुने गए इमरान खान के जीवन, परिवार,क्रिकेट और राजनैतिक जीवन में उनके योगदान के बारे में जानते हैं.
इमरान खान Imran khan जो कि पाकिस्तान Pakisthan के 29 वें प्रधानमंत्री चुने गए हैं, पाकिस्तान के पूर्व क्रिकेटर cricketer हैं. इमरान खान की कप्तानी में पाकिस्तान ने 1992 में विश्वकप का खिताब भी जीता था. क्रिकेट से सन्यास लेने के बाद इमरान ने पाकिस्तान तहरीक-ए-इन्साफ Pakistan Tehreek-e-Insaf नाम की राजनीतिक पार्टी की स्थापना की.
इमरान खान का राजनीतिक जीवन Political career of Imran Khan
इमरान खान ने क्रिकेट जगत से सन्यास लेने के बाद पाकिस्तान की अस्थिर राजनीति को देखते हुए न्याय मानवता और आत्मसम्मान के नारे के साथ 25 अप्रेल 1996 में पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ नामक पार्टी का गठन किया.
लगभग 22 साल तक राजनीति के गलियारों में अच्छे और बुरे दिन देख चुकी इमरान खान की पार्टी ने अनेकों चुनाव हारे और राजनैतिक संघर्ष के दौरान इमरान खान को जेल भी जाना पड़ा. लेकिन 2018 में इमरान खान की पार्टी सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी और वे सरकार बनाने में कामयाब हुए.
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इमरान खान का आरंभिक जीवन - Early life of Imran Khan
इमरान खान का जन्म 25 नवम्बर 1952 में पाकिस्तान के लाहौर में हुआ. इनके पिता का नाम इकारमुल्लाह खान नियाजी और इनकी मां का नाम शौकत खानम था.
इमरान के पिता इकराम खान नियाजी एक सिविल इंजीनियर थे, जो एक समृद्ध परिवार से ताल्लुक रखते थे. इमरान चार बहनों के बीच इकलौते भाई थे, इसलिए उन्हें अपने परिवार का भरपूर प्यार मिला.
इमरान के पिता इकराम खान नियाजी एक सिविल इंजीनियर थे, जो एक समृद्ध परिवार से ताल्लुक रखते थे. इमरान चार बहनों के बीच इकलौते भाई थे, इसलिए उन्हें अपने परिवार का भरपूर प्यार मिला.
इमरान खान की शिक्षा Imran khan education
इमरान खान ने लाहोर में अपनी प्रारंभिक शिक्षा केथलेट स्कूल और एचीसन काॅलेज में प्राप्त की. इमरान को उनके पिता ने इंग्लैंड में रॉयल ग्रामर स्कूल वॉरसेस्टर में पढ़ाई करने भेजा. इमरान ने क्रिकेट खेलने की अपनी काबिलियत और अपने आकर्षक व्यक्तित्व से जल्द ही इंग्लैंड में अच्छी लोकप्रियता हासिल कर ली. इसके बाद इमरान ने केबले कॉलेज ऑक्सफोर्ड में फिलॉसफी, राजनीति विज्ञान और अर्थशास्त्र विषयों से स्नातक की पढ़ाई पूरी की.
इमरान 1986 में इंग्लैंड के लॉर्ड गॉर्डन व्हाइट की बेटी सीटा व्हाइट के सम्पर्क में आए औऱ दोनों के करीबी रिश्ते रहे. दोनों की एक बेटी टायरिन भी हुई. जिसे शुरू में इमरान ने अपनी बेटी नहीं कबूला. हालांकि, 1997 में अदालत के फैसले के बाद उन्होंने टायरिन को बेटी के रूप में स्वीकार कर लिया.
1992 के आस-पास इमरान खान ने अपनी छवि बदलने की कोशिश शुरू कर दी. उन्होंने कैंसर के कारण दिवंगत अपनी मां की याद में कैंसर अस्पताल के लिए फंड इकट्ठा करना शुरू किया. 1994 में उन्होंने लाहौर में शौकत खानम मेमोरियल कैंसर हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर की स्थापना की.
कभी इमरान की थी प्लेबॉय वाली छवि
क्रिकेटर से पाकिस्तान के प्रधानमंत्री पद का सफर तय करने वाले इमरान खान एक समय इंग्लैंड में महिलाओं के बीच प्लेबॉय वाली छवि रखते थे. सुजैना कॉन्स्टेंन्टाइन, लेडी लिजा कैम्पबेल, सोसायटी आर्टिस्ट एमा सार्जेंट सहित कई महिलाओं के साथ उनका नाम जुड़ा. भारत में भी कई अभिनत्रियों के साथ उनके प्रेम प्रसंगों के चर्चे रहे.इमरान 1986 में इंग्लैंड के लॉर्ड गॉर्डन व्हाइट की बेटी सीटा व्हाइट के सम्पर्क में आए औऱ दोनों के करीबी रिश्ते रहे. दोनों की एक बेटी टायरिन भी हुई. जिसे शुरू में इमरान ने अपनी बेटी नहीं कबूला. हालांकि, 1997 में अदालत के फैसले के बाद उन्होंने टायरिन को बेटी के रूप में स्वीकार कर लिया.
1992 के आस-पास इमरान खान ने अपनी छवि बदलने की कोशिश शुरू कर दी. उन्होंने कैंसर के कारण दिवंगत अपनी मां की याद में कैंसर अस्पताल के लिए फंड इकट्ठा करना शुरू किया. 1994 में उन्होंने लाहौर में शौकत खानम मेमोरियल कैंसर हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर की स्थापना की.
इमरान खान का वैवाहिक जीवन Imran Khan's Wife & Ex Wives
इमरान खान की निजी ज़िंदगी विवादों से भरी रही है. इमरान खान की पहली शादी ब्रिटेन के एक अरबपति की बेटी जैमिमा गोल्ड स्मिथ के साथ 16 मई 1995 हुई.
इंग्लैंड में इमरान खान की जेमिमा गोल्डस्मिथ से मुलाकात हुई. अरबपति सर जेम्स गोल्डस्मिथ की संतान जेमिमा जन्म से ईसाई थीं और उनके पिता के परिवार का संबंध यहूदियों से भी था. इसलिए जब इमरान ने जेमिमा से दूसरी ही मुलाकात में उनसे विवाह का प्रस्ताव रख दिया तो इसका काफी विरोध भी हुआ.
तमाम विरोध को दरकिनार करते हुए इमरान और जेमिमा ने शादी कर ली. जेमिमा ने इस्लाम कबूल कर लिया और ब्रिस्टल यूनिवर्सिटी में अपनी पढ़ाई अधूरी छोड़कर लाहौर में इमरान के परिवार के साथ रहने लगीं. हालांकि, जेमिमा को पाकिस्तान का खान-पान और रहन-सहन रास नहीं आ रहा था.
1997 में जेमिमा ने उनके बड़े बेटे सुलैमान इसा खान को जन्म दिया. 1999 में उनके दूसरे बेटे कासिम का जन्म हुआ. इस बीच जेमिमा ने ब्रिस्टल यूनिवर्सिटी में अपनी अधूरी पढ़ाई पूरी करने का फैसला किया. इसके बाद उन्होंने लंदन में ही मास्टर्स डिग्री की पढ़ाई भी की. इमरान के साथ अपनी शादी के आखिरी दो साल जेमिमा ने इंग्लैंड में ही बिताए और 2004 में दोनों अलग-अलग हो गए.
बीबीसी की पूर्व पत्रकार रेहम खान से इमरान की पहली मुलाकात 2012 में हुई. रेहम उस वक्त तीन बच्चों की मां और तलाकशुदा थीं, वे इंग्लैंड छोड़कर पाकिस्तान जाकर बस गई थीं. रेहम ने इमरान के दो बार इंटरव्यू किए.
इसके बाद इमरान ने रेहम को खाने पर बुलाया और उन्हें शादी का प्रस्ताव दे दिया. जनवरी 2015 में इमरान ने रेहम से शादी कर ली. हालांकि, दोनों के रिश्ते जल्द ही खराब हो गए और 2015 में ही दोनों का तलाक हो गया. 2018 में रेहम खान ने अपनी आत्मकथा में इमरान खान पर कई तरह के गंभीर आरोप लगाए.
2018 में इमरान ने पांच बच्चों की मां, तलाकशुदा और सूफी स्कॉलर बुशरा मानेका से शादी कर ली. पाकिस्तानी आध्यात्मिक गुरू बुशरा मानिका जो कि पिंकी बीबी (Imran Khan 3rd wife) के नाम से भी मशहूर हैं. बुशरा इमरान की तीसरी पत्नी हैं. Imran Khan 3rd marriage .
इंग्लैंड में इमरान खान की जेमिमा गोल्डस्मिथ से मुलाकात हुई. अरबपति सर जेम्स गोल्डस्मिथ की संतान जेमिमा जन्म से ईसाई थीं और उनके पिता के परिवार का संबंध यहूदियों से भी था. इसलिए जब इमरान ने जेमिमा से दूसरी ही मुलाकात में उनसे विवाह का प्रस्ताव रख दिया तो इसका काफी विरोध भी हुआ.
तमाम विरोध को दरकिनार करते हुए इमरान और जेमिमा ने शादी कर ली. जेमिमा ने इस्लाम कबूल कर लिया और ब्रिस्टल यूनिवर्सिटी में अपनी पढ़ाई अधूरी छोड़कर लाहौर में इमरान के परिवार के साथ रहने लगीं. हालांकि, जेमिमा को पाकिस्तान का खान-पान और रहन-सहन रास नहीं आ रहा था.
1997 में जेमिमा ने उनके बड़े बेटे सुलैमान इसा खान को जन्म दिया. 1999 में उनके दूसरे बेटे कासिम का जन्म हुआ. इस बीच जेमिमा ने ब्रिस्टल यूनिवर्सिटी में अपनी अधूरी पढ़ाई पूरी करने का फैसला किया. इसके बाद उन्होंने लंदन में ही मास्टर्स डिग्री की पढ़ाई भी की. इमरान के साथ अपनी शादी के आखिरी दो साल जेमिमा ने इंग्लैंड में ही बिताए और 2004 में दोनों अलग-अलग हो गए.
बीबीसी की पूर्व पत्रकार रेहम खान से इमरान की पहली मुलाकात 2012 में हुई. रेहम उस वक्त तीन बच्चों की मां और तलाकशुदा थीं, वे इंग्लैंड छोड़कर पाकिस्तान जाकर बस गई थीं. रेहम ने इमरान के दो बार इंटरव्यू किए.
इसके बाद इमरान ने रेहम को खाने पर बुलाया और उन्हें शादी का प्रस्ताव दे दिया. जनवरी 2015 में इमरान ने रेहम से शादी कर ली. हालांकि, दोनों के रिश्ते जल्द ही खराब हो गए और 2015 में ही दोनों का तलाक हो गया. 2018 में रेहम खान ने अपनी आत्मकथा में इमरान खान पर कई तरह के गंभीर आरोप लगाए.
2018 में इमरान ने पांच बच्चों की मां, तलाकशुदा और सूफी स्कॉलर बुशरा मानेका से शादी कर ली. पाकिस्तानी आध्यात्मिक गुरू बुशरा मानिका जो कि पिंकी बीबी (Imran Khan 3rd wife) के नाम से भी मशहूर हैं. बुशरा इमरान की तीसरी पत्नी हैं. Imran Khan 3rd marriage .
इमरान खान का क्रिकेट कैरियर Cricket career
इमरान खान क्रिकेट जगत् में बेहतरीन तेज गेंदबाज के तौर पर जाने जाते हैं. इमरान ने 16 साल की उम्र में प्रथम श्रेणी क्रिकेट खेलना शुरू किया. उन्होंने अपना पहला टेस्ट 3 जून 1971 को इंग्लैण्ड के खिलाफ और आखिरी टेस्ट 7 फरवरी 1992 में श्रीलंका खिलाफ खेला था.
जब पाकिस्तान को बनवाया विश्व विजेता 1992 Cricket World Cup Final
इमरान खान ने ही पाकिस्तान को अब तक का एकमात्र एक दिवसीय फार्मेट का विश्व कप दिलवाया है. इमरान खान ने साल 1992 में पाकिस्तानी क्रिकेट की कप्तानी संभाली.
इस समय पाकिस्तान की क्रिकेट टीम बुरे दौर से गुजर रही थी. इमरान खान ने 1987 में ही अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट से सन्यास ले लिया था. पाकिस्तान क्रिकेट टीम को एक बेहतरीन नेतृत्व ही संभाल सकता था.
इसलिए टीम प्रबंधन ने इमरान खान से टीम की कप्तानी संभालने का आग्रह किया और इमरान ने अपने प्रदर्शन से इतिहास रच दिया. 1992 में पाकिस्तान टीम इमरान खान की कप्तानी में क्रिकेट विश्व विजेता बनी और साल 1994 में इमरान खान ने क्रिकेट को हमेशा के लिए अलविदा कह दिया.
इस समय पाकिस्तान की क्रिकेट टीम बुरे दौर से गुजर रही थी. इमरान खान ने 1987 में ही अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट से सन्यास ले लिया था. पाकिस्तान क्रिकेट टीम को एक बेहतरीन नेतृत्व ही संभाल सकता था.
इसलिए टीम प्रबंधन ने इमरान खान से टीम की कप्तानी संभालने का आग्रह किया और इमरान ने अपने प्रदर्शन से इतिहास रच दिया. 1992 में पाकिस्तान टीम इमरान खान की कप्तानी में क्रिकेट विश्व विजेता बनी और साल 1994 में इमरान खान ने क्रिकेट को हमेशा के लिए अलविदा कह दिया.
संन्यास के बाद के कई वर्षों में इमरान खान ने क्रिकेट कमेन्ट्री के साथ-साथ जानी-मानी पत्र पत्रिकाओं में क्रिकेट पर अनेकों लेख लिखे.
कैसे चुना जाता है पाकिस्तान में प्रधानमंत्री
पाकिस्तान की नेशनल असेंबली में कुल 342 सदस्य होते हैं जिनमें से 272 को सीधे तौर पर चुना जाता है और शेष 60 सीटें महिलाओं और 10 सीटें धार्मिक अल्पसंख्यकों के लिए आरक्षित होती हैं. कोई पार्टी तभी अकेले दम पर सरकार बना सकती है जब उसे 172 सीटें हासिल हो जाए. हालांकि 2018 में इमरान की पार्टी को अपने दम पर बहुमत नहीं मिला.इमरान को मिले पुरस्कार और सम्मान Awards and honours
इमरान खान को पाकिस्तान के सबसे बड़ा नागरिक पुरस्कार हिलाल-ए-इम्तियाज से साल 1992 में सम्मानित किया गया. साथ ही क्रिकेट जगत में रहते हुए उन्हें अनेकों पुरस्कारों से सम्मानित किया गया.
2- खवाजा नज़ीमुद्दीन
3- महामद अली बोगरा
4- चौधरी महामद अली
5- हुसेन शहीद सुहरावर्दी
6- इब्राहीम इस्मैल चुन्द्रिगर
7- फीरोज़ खान नून
8- महामद अयूब खान
9- नूरुल अमीन
10- ज़ुल्फिकार अली भुट्टो
11 - महामद ज़िया-उल-हक
12- महामद खान जुनेजो(2)
13 - बेनज़ीर भुट्टो
14 - गुलाम मुस्तफा जतोई
15- नवाज़ शरीफ
16 - बलख शेर मज़ारी
17- मोइन कुरेशी
18- मिराज खालिद
19-परवेज़ मुशर्रफ
20- ज़फरुल्लाह खान जमाली
21- चौधरी शुजात हुसेन
22- शौकत अज़ीज़
23- मुहम्मद मियां सूम्रो
24 - यूसुफ रजा गिलानी
25 - रजा परवेज़ अशरफ़
26- मीर हज़ार ख़ान खोसो
27 - नवाज़ शरीफ़
28 -शाहिद खाकान अब्बासी
साल 1958 से 1973 तक, सैनिक शासन के कारण प्रधानमंत्री के पद रिक्त रहा.
पाकिस्तान के प्रधानमंत्रियों की पूरी सूची Prime Ministers of Pakistan
1- लियाकत अली खान2- खवाजा नज़ीमुद्दीन
3- महामद अली बोगरा
4- चौधरी महामद अली
5- हुसेन शहीद सुहरावर्दी
6- इब्राहीम इस्मैल चुन्द्रिगर
7- फीरोज़ खान नून
8- महामद अयूब खान
9- नूरुल अमीन
10- ज़ुल्फिकार अली भुट्टो
11 - महामद ज़िया-उल-हक
12- महामद खान जुनेजो(2)
13 - बेनज़ीर भुट्टो
14 - गुलाम मुस्तफा जतोई
15- नवाज़ शरीफ
16 - बलख शेर मज़ारी
17- मोइन कुरेशी
18- मिराज खालिद
19-परवेज़ मुशर्रफ
20- ज़फरुल्लाह खान जमाली
21- चौधरी शुजात हुसेन
22- शौकत अज़ीज़
23- मुहम्मद मियां सूम्रो
24 - यूसुफ रजा गिलानी
25 - रजा परवेज़ अशरफ़
26- मीर हज़ार ख़ान खोसो
27 - नवाज़ शरीफ़
28 -शाहिद खाकान अब्बासी
साल 1958 से 1973 तक, सैनिक शासन के कारण प्रधानमंत्री के पद रिक्त रहा.
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