औषधीय पौधे जिनकी खेती आपको बना देगी करोड़पति - How to Earn Money by Herbal Farming in Hindi
20 औषधीय पौधे जिनकी खेती आपको बना देगी करोड़पति
भारत में आई आयुर्वेदिक दवाओं Ayurvedic Medicines के प्रति जागरूकता और लगातार बढ़ते बाजार की वजह आयुर्वेद में काम आने वाली औषधियों की मांग भी लगातार बढ़ती जा रही है. भारत और पूरी दुनिया में आयुर्वेदिक दवाओं की मांग को पूरा करने के लिए अब बड़ी संख्या में औषधियों की खेती की जाने लगी है. इन बहुमूल्य औषधियों की खेती के साथ सबसे अच्छी बात यह है कि यह आपके बैकयार्ड से लेकर आपके किचन गार्डन Kitchen Garden तक में आसानी से उगाए जा सकते हैं. इन औषधियों की छोटी मात्रा भी अपने महंगे दामों के कारण आपको अच्छा मुनाफा दे सकती है. अच्छी बात यह है कि इसके लिए आपको अपनी जेब से ज्यादा पैसा भी नहीं लगाना होता है. हम यहां आपको ऐसी 20 औषधियों की सूची (List of Herbal Medicin) दे रहे हैं जिन्हें आप अपने घर के पिछवाड़े से लेकर गमले तक में लगा सकते हैं और मोटी कमाई कर सकते हैं.
1. एलो वेरा Aloe vera – Aloe Barbadensis miller
यह बहुत मंहगी हर्ब मेडिशिन है और कई दवाओं में इसका प्रमुखता से इस्तेमाल होता है. साथ ही अब तो यह फेस पैक और फेस क्रीम जैसे ब्यूटी प्रोडक्ट्स में भी उपयोग में लाई जाने लगी है. ग्वारपाठे के नाम से जाने जानी वाली यह मेडिसिन ट्रापिकल इलाको में रहने वाले लोगों के लिए उपयुक्त पौधा है और इसकी एक फसल से 8 से 10 लाख रूपये तक कमाए जा सकते हैं.
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2. आंवला Amla – Phyllanthus Emblica
आंवले का रस और आंवले का पाउडर पाचन के लिए बहुत उपयुक्त माना जाता है और लगभग सभी प्रसिद्ध फॉर्मेसी इसे बाजार में प्रमुखता से बेचती है. आंवला (Indian Gooseberry) आप विशेषज्ञ की देख—रेख में गमले में भी लगा सकते हैं लेकिन जमीन पर लगाना ज्यादा उपयुक्त है. आंवले के दस पेड़ों से आप एक सीजन में 2 से 3 लाख रूपये तक कमा सकते हैं.
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3. अश्वगंधा Ashwagandha – Withania Somnifera
अश्वगंधा को पाचक और वीर्य दायक माना जाता है और प्राचीन काल से ही यौन संबंधी समस्याओं Sexual Problems को दूर करने के लिए अश्वगंधा का उपयोग आयुर्वेद में प्रमुखता से होता रहा है. इसके पौधे को गमले में आसानी से उगाया जा सकता है और किचन गार्डन में इस पौधे की एक सफल फसल आपको लाखों रूपये दिलवा सकती है. Tag: sexual problems medicine
4. तुलसी Basil – Ocimum basilicum
तुलसी (वृंदा) हिंंदुस्तान के घर—घर में पाई जाती है और इसके औषधीय गुणों से हम सब परिचित है. इसके पत्ते, डंठल और बीज सभी औषधीय गुणों से भरपूर होते हैं और इस पौधे को आसानी से गमले में उगाया जा सकता है. तुलसी की फसल आपको एक सीजन में 2 से 3 लाख रूपये तक दिलवा सकती है.
5.ब्राह्मी Brahmi – Bacopa Monnieri
इस औषधी को प्राचीन समय से ही इस्तेमाल किया जा रहा है. यह दिमाग के लिए श्रेष्ठ औषधी मानी जाती है और इसका प्रयोग बहुत सी दवाओं के मिश्रण में किया जाता है. ब्राह्मी को उगाना सरल है और यह बहुत ही अच्छे मुनाफे पर बेची जाने वाली औषधी है. Tag: best medicine for mind
6.गेंदे का फूल Calendula – Calendula officinalis
गेंदे का फूल भी ढेरों औषधीय गुणों को लिए हुए होता है. गेंदे का फूल बंजर जमीन पर भी उग जाता है और इसे ज्यादा देखभाल की जरूरत भी नहीं होती है और इसके रोजमर्रा की ग्राहकी भी बहुत ज्यादा है. यह थोक में उगता है और तीन से चार हफ्ते में इसका पौधा तैयार हो जाता है. खेरूज बाजार में यह 50 रूपये प्रति किलो तक आसानी से बिक जाता है.
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7. दारूहरिद्रा Daruharidra – Berberis Aristata
कॉस्मेटिक Cosmetic इंडस्ट्री में इस औषधी को प्रमुखता से प्रयोग किया जाता है. इसे किचन गार्डन में आसानी से उगाया जा सकता है और मिट्टी की कम गुणवत्ता होने पर भी यह अच्छी उपज देता है.
8. गुग्गल Guggal – Commiphora Wightii
यह सबसे ज्यादा उपयोग में लाई जाने वाली आयुर्वेदिक औषधियों में से एक है. राजस्थान में गुग्गल Guggul in Rajasthan प्रमुखता से उगाया जाता है. कम पानी में भी यह फसल आसानी से उगाई जा सकती है.
9. जटामासी Jatamansi – Nardostachys Jatamansi
परफ्यूमरी और कॉस्मेटिक इंडस्ट्री इस आयुर्वेदिक मेडिसिन के सबसे बड़े खरीदार है. जटामासी की जड़ और छाल को औषधी के तौर पर प्रयोग में लिया जाता है.
10.जट्रोफा Jatropha – Jatropha curcas
जेट्रोफा को इसके बीजों के लिए उगाया जाता है. इसके तेल का उपयोग औद्योगिक तौर पर किया जाता है इसलिए इसके उत्पादन के लिए ज्यादा जगह और ज्यादा मात्रा की जरूरत होती है लेकिन इसे बंजर भूमि और दलदली भूमि पर भी आसानी से उगाया जा सकता है.
11.केसर Kesar – Crocus sativus
केसर (Saffron) दुनिया की सबसे महंगी औषधी है. साथ ही इसे भोजन में प्रमुखता से उपयोग किया जाता है. ठंडे इलाको में इसे आसानी से उगाया जा सकता है.
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12. लैवेंडर या नील लोहित Lavender – Lavandula
यह भी ठंडे इलाको में उगाई जाने वाली औषधी है और इसके उत्पादक हमेशा फायदे में रहते हैं. परफ्यूम और कॉस्मेटिक इंडस्ट्री में इसकी भारी मांग रहती है.
13. लेमन ग्रास Lemon Grass – Cymbopogon
मूल रूप से लेमन ग्रास एक बारहमासी पौधा है. लेमन ग्रास भारत में व्यावसायिक रूप से उगाई जाने वाली फसलों में से एक है। औषधीय गुणों के अलावा परफ्यूमरी, सौंदर्य प्रसाधन, साबुन, डिटर्जेंट और पेय पदार्थों में इसका प्रमुखता से उपयोग होता है.
14.पार्सले Parsley – Petroselinum crispum
पार्सले नमी वाले स्थानों में अच्छी तरह उगाया जा सकता है। इसके अलावा पार्सले के लिए प्रकाश की एक अच्छी मात्रा की आवश्यकता होती है। गर्मियों में इसकी खेती के लिए आपको पर्याप्त पानी की जरूरत होती है.
15.पैचौली Patchouli – Pogostemon cablin
पैचौली महत्वपूर्ण सुगंधित पौधों में से एक है। आप तेल के लिए इसकी खेती कर सकते हैं। सूरज की रोशनी के साथ आर्द्र जलवायु इस फसल के लिए उपयुक्त है। छाया में यह पौधा मुरझा जाता है इसलिए आपको इसके लिए धूप की अच्छी व्यवस्था करनी होती है.
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16.सफेद मूसली Safed Musli – Chlorophytum Borivilianum
इस औषधी में उत्कृष्ट आयुर्वेदिक गुण हैं। आप देश में कहीं भी इसकी खेती कर सकते हैं। अच्छे फसल प्रबंधन अभ्यास के साथ वाणिज्यिक खेती आपको शानदार लाभ देगी।
17.सर्पगंधा Sarpagandha – Rauvolfia Serpentina
सर्पगंधा में विभिन्न औषधीय गुण हैं असल में, यह बहुत लाभकारी जड़ी बूटी है. इसका पौधा अच्छी मात्रा में मिट्टी पसंद करता है और नाइट्रोजन और कार्बनिक खाद में अच्छा बढ़ता है। क्षारीय मिट्टी इसकी व्यावसायिक खेती के लिए उपयुक्त नहीं हैं।
18.स्टिविया Stevia – Stevia Rebaudiana
असल में, स्टेविया चीनी के एक विकल्प के रूप में लोकप्रिय है। इसके अतिरिक्त, भारत में स्टेविया की खेती फायदेमंद है। इसमें औषधीय गुण हैं और कॉस्मेटिक्स उद्योग में भी इसका इस्तेमाल होता है।
19.वनिला Vanilla – Vanilla Planifolia
केसर के बाद वनिला बाजार में सबसे महंगे मसालों में से एक है। इसके अतिरिक्त, आयुर्वेद, दवाइयां और प्रसंस्कृत खाद्य उद्योग वनिला के प्रमुख उपभोक्ता हैं। वनिला खेती में कर्नाटक भारत में शीर्ष स्थान पर है।
20.यष्ठिमधु Yashtimadhu – Glycyrrhiza Glabra
इसका अंग्रेजी नाम लिकोराइस (Licorice) है. यष्ठिमधु भारत में ही नहीं बल्कि विदेशों में भी सबसे लोकप्रिय औषधीय जड़ी बूटियों में से एक है। औषधी की जड़ (लिकोराइस) में ग्लिसरीफ्रिज़िन नामक एक पदार्थ होता है जो चीनी से 50 गुना मीठा होता है।
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